नई डिजिटल पहचान: केंद्रीय मंत्री द्वारा लॉन्च किया गया नया आधार ऐप जेब में आधार कार्ड रखने का झंझट हुआ अब ख़त्म इस ऐप के माध्यम से अब डायरेक्ट ही हो जाएगा आधार वेरिफिकेशन ?
केंद्र सरकार ने डिजिटल इंडिया पहल के तहत आधार कार्ड से जुड़ी प्रक्रियाओं को सरल बनाने के लिए एक नया आधार ऐप लॉन्च किया है। यह ऐप भारतीय नागरिकों के लिए एक महत्वपूर्ण परिवर्तन लेकर आया है, जिससे आधार कार्ड से संबंधित विभिन्न लेन-देन अब चंद सेकंडों में डिजिटली सिद्ध किए जा सकेंगे।
ऐप के प्रमुख फायदे
- आसान और तेज वेरिफिकेशन: डिजिटल प्रोसेस के चलते अब कागजी दस्तावेज़ों और फॉर्म भरने की जरूरत कम हो जाएगी। चाहे होटल, एयरपोर्ट, सिनेमा हॉल या कॉलेज का टिकट बुकिंग हो, हर जगह आधार कार्ड की डिजिटल कॉपी काफी होगी।
- कागजी काम में कमी: डिजिटल प्रोसेस के चलते अब कागजी दस्तावेज़ों और फॉर्म भरने की जरूरत कम हो जाएगी। चाहे होटल, एयरपोर्ट, सिनेमा हॉल या कॉलेज का टिकट बुकिंग हो, हर जगह आधार कार्ड की डिजिटल कॉपी काफी होगी।
- व्यापक उपयोगिता: यात्रा, चेक-इन या अन्य किसी भी सर्विस का लाभ उठाने के लिए यह ऐप बेहद सहायक सिद्ध होगा। मोबाइल फोन के साथ आधार वेरिफिकेशन की सुविधा से विभिन्न स्थानों पर आसानी से पहचान सत्यापित की जा सकेगी।
- डाटा सुरक्षा: नये ऐप में फेशियल ऑथेंटिकेशन फीचर को शामिल किया गया है जिससे उपयोगकर्ता की पहचान सत्यापित करने में सुरक्षा का विशेष ध्यान रखा गया है। इससे पुराने OTP बेस्ड सिस्टम की तुलना में धोखाधड़ी के जोखिम को काफी हद तक कम किया जा सकेगा।
ऐप की कार्यप्रणाली
नया ऐप ‘आधार फेस आरडी’ के उपयोग के लिए निम्नलिखित पाँच स्टेप्स अपनाने होते हैं:
- डाउनलोड: Google Play Store या अन्य एप स्टोर से ऐप डाउनलोड करें।
- QR कोड स्कैन: एयरपोर्ट, होटल या अन्य किसी अधिकृत स्थान पर उपलब्ध QR कोड को स्कैन करें।
- जानकारी साझा करना: ऐप पर नाम, जन्मतिथि और पता जैसी जानकारी शेयर करने का विकल्प चुनें।
- फेस वेरिफिकेशन: उपयोगकर्ता के चेहरे की पहचान के द्वारा सत्यापन किया जाएगा।
- डाटा वेरीफिकेशन: अंत में, सभी डाटा की पुष्टि की जाएगी और सुरक्षित रूप से शेयर कर दिया जाएगा।
इस प्रक्रिया में OTP की आवश्यकता को हटाकर फेशियल ऑथेंटिकेशन के जरिए असली उपयोगकर्ता की पहचान सुनिश्चित की जाएगी, जिससे किसी और द्वारा धोखाधड़ी की संभावना बिल्कुल नहीं रहेगी।
पुराने ऐप से तुलना
पहले के एम आधार ऐप में OTP के माध्यम से डाटा अपडेट और प्रोफाइल देखने की सुविधा थी, जबकि नया ऐप न केवल डाटा शेयरिंग बल्कि आधार से जुड़ी पहचान वेरिफिकेशन को भी शामिल करता है। हालांकि, दोनों ऐप अलग-अलग कार्यों के लिए बनाए गए हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि पुराने एम आधार ऐप को जल्द ही बंद नहीं किया जाएगा, बल्कि दोनों ऐप्स का उपयोग अलग-अलग उद्देश्यों के लिए जारी रहेगा।
भविष्य की संभावनाएँ
केंद्रीय सरकार के अनुसार, नए ऐप के माध्यम से एयरपोर्ट चेक-इन, होटलों में वेरिफिकेशन, रेलवे टिकट बुकिंग और सिनेमा टिकट जैसी सुविधाओं को भी ज्यादा सरल और सुरक्षित बनाया जाएगा। सुरक्षा और यूजर प्राइवेसी को ध्यान में रखते हुए विकसित यह ऐप वर्तमान में बीटा संस्करण में है, जिसे हाल ही में दिल्ली के कुछ चुनिंदा उपयोगकर्ताओं के लिए टेस्टिंग के लिए लॉन्च किया गया है।
साथ ही, विशेषज्ञों की सलाह पर ऐप के डेवलपमेंट में निरंतर सुधार और अपडेट किए जा रहे हैं ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि यूजर का डाटा पूरी तरह से सुरक्षित रहे।
नया आधार ऐप एक महत्वपूर्ण कदम है डिजिटल इंडिया पहल की दिशा में, जो भारतीय नागरिकों के लिए आधार कार्ड से जुड़ी प्रक्रियाओं को सरल और सुरक्षित बनाने में सहायक सिद्ध होगा। उपयोगकर्ताओं के लिए यह एक आदर्श समाधान प्रस्तुत करता है, जिससे वे अपने महत्वपूर्ण आधार डाटा का उपयोग बिना किसी झंझट के कर सकेंगे। साथ ही, डेटा सुरक्षा और धोखाधड़ी के जोखिम को कम करने के लिए लिए गए कदम इस ऐप को और भी विश्वसनीय बनाते हैं। इस बदलाव के बारे में अधिक जानकारी और अपडेट्स के लिए सरकार द्वारा जारी घोषणाओं पर नजर बनाए रखें।
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